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Beginners Guide to Commodities Trading in India What is Commodity Market | Why Invest in Commodities in hindi

Commodity Market क्या है ? – कमोडिटी मार्केट के बारे में पूरी जानकारी हिंदी में

शेयर मार्केट में लोग कंपनी और उनके शेयर पर पैसे निवेश करके मुनाफा कमा लेते है. साथ ही साथ लोग शेयर मार्केट में स्टॉक एक्सचेंज पर लिस्टेड कंपनी के शेयर पर ट्रेडिंग भी करते है और यही कारण है.

शेयर मार्केट में इक्विटी मार्केट इतनी प्रसिद्ध है. लेकिन सिर्फ इक्विटी मार्केट नही, शेयर मार्केट में कमोडिटी मार्केट भी बहुत नाम है और लोग इससे भी बहुत पैसे कमाते है.

चलिए सबसे पहले कमोडिटी मार्केट के मीनिंग को जान कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है लेते है.

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कमोडिटी मार्केट एक ऐसा मार्केट होता है जहाँ आप वस्तुओं के शेयर को खरीदने और बेचने का काम करते है. कमोडिटी मार्केट ठीक शेयर मार्केट की तरह ही काम करता है.

कमोडिटी मार्केट में आप वस्तुओं जैसे Base Metals, Bullions, Agro Commodities, Energy के शेयर को खरीद व बेच कर मुनाफा कमा सकते है.कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है

कमोडिटी मार्केट में आप सिर्फ निवेश नही बल्कि ट्रेडिंग भी कर सकते है. चलिए जानते है कमोडिटी मार्केट ट्रेडिंग के बारे में .

Commodity Market Trading Kya Hai ?

जिस प्रकार आप शेयर मार्केट में कंपनी के शेयर पर ट्रेडिंग करते है ठीक उसी प्रकार आप कमोडिटी मार्केट में वस्तुओं के Share पर Trading कर सकते है.

कमोडिटी मार्केट में आपको ट्रेडिंग करने के लिए ट्रेडिंग की पूरी जानकारी होनी चाहिए. ट्रेडिंग के बारे में विस्तार से जानने के लिए नीचे दी गई कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है पोस्ट पढ़े.

चलिए अब जानते है कमोडिटी मार्केट में ट्रेडिंग करने के लिए आपको क्या चाहिए.

Commodity Market in Hindi?

कमोडिटी मार्केट में ट्रेडिंग करने के लिए आपको ट्रेडिंग एकाउंट की जरूरत पड़ती है. तो अगर आप अपना ट्रेडिंग एकाउंट खोलना चाहते है तो नीचे दी गई पोस्ट पढ़े.

कमोडिटी मार्केट की खुद की एक स्टॉक एक्सचेंज है. जिसकी मदद से आप कमोडिटी मार्केट में ट्रेडिंग और निवेश करते है.

कमोडिटी मार्केट की स्टॉक एक्सचेंज का नाम MCX है. चलिए MCX एक्सचेंज के बारे में जानते हौ.

MCX Kya Hai?

MCX कमोडिटी की एक स्टॉक एक्सचेंज है. इसका पूरा नाम Multi Commodity Exchange of India है. MCX इक्विटी मार्केट की स्टॉक एक्सचेंज NSE और BSE की तरह ही स्टॉक एक्सचेंज है.

अगर आप MCX के बारे में और अधिक जानना चाहते है तो नीचे दी गई पोस्ट पढ़े .

कमोडिटी मार्केट में ट्रेडिंग कैसे करे चलिए जानते है.

Commodity Market Me Trading Kaise Kare?

कमोडिटी मार्केट में ट्रेडिंग करने के लिए आपके पास एक ट्रेडिंग एकाउंट होना चाहिए इसके अलावा आपको ट्रेडिंग के बारे में जानकारी होना चाहिए.

शेयर मार्केट से कितना अलग है कमोडिटी मार्केट, जानिए कैसे होती है कमोडिटी ट्रेडिंग?

शेयर बाजार ने भी निवेशकों को निराश नहीं किया. तेजी से दौरान निवेशकों को बंपर मुनाफा मिला. लेकिन यूरोप में यूद्ध के माहौल से सुरक्षित निवेश की मांग तेजी से बढ़ी है. क्योंकि शेयर बाजार में कमजोरी का ट्रेंड है.

कोरोना महामारी के बाद शेयर मार्केट में निवेशकों की संख्या में रिकॉर्ड बढ़त देखने को मिली है. इसी साल अगस्त में डीमैट खातों की संख्या पहली बार 10 करोड़ के पार पहुंच गई. हालांकि, शेयर बाजार ने भी निवेशकों को निराश नहीं किया. तेजी से दौरान निवेशकों को बंपर मुनाफा मिला. लेकिन यूरोप में यूद्ध के माहौल से सुरक्षित निवेश की मांग तेजी से बढ़ी है. क्योंकि शेयर बाजार में कमजोरी का ट्रेंड है. ऐसे में कमोडिटी कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है मार्केट में सोने और चांदी की मांग तेजी देखने को मिली है. क्या आपको पता है कि कमोडिटी मार्केट क्या है और यह इक्विटी यानी शेयर मार्केट से कितना अलग है.

कमोडिटी मार्केट क्या है?

कमोडिटी मार्केट (Commodity Market) यह एक ऐसा मार्केटप्लेस है जहां निवेशक मसाले, कीमती मेटल्स, बेस मेटल्स, एनर्जी, कच्चे तेल जैसी कई कमोडिटीज की ट्रेडिंग करते हैं.

  • एग्री या सॉफ्ट कमोडिटीज में मसाले जैसे काली मिर्च, धनिया, इलायची, जीरा, हल्दी और लाल मिर्च हैं. इसके अलावा सोया बीज, मेंथा ऑयल, गेहूं, चना भी इसी का हिस्सा हैं.
  • नॉन-एग्री या हार्ड कमोडिटीज में सोना, चांदी, कॉपर, जिंक, निकल, लेड, एन्युमिनियम, क्रूड ऑयल, नेचुरल गैस शामिल हैं.

इक्विटी मार्केट और कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है कमोडिटी मार्केट में क्या अंतर है?

  • इक्विटी मार्केट में लिस्टेड कंपनियों के शेयर खरीदे और बेचे जाते हैं. वहीं कमोडिटी मार्केट में कच्चे माल को बेचा और खरीदा जाता है.
  • कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है
  • इक्विटी के होल्डर को शेयरहोल्डर कहा जाता है, जबकि कमोडिटी के होल्डर को ऑप्शन कहा जाता है.
  • शेयरहोल्डर को पार्शियल कंपनी का मालिक माना जाता है, लेकिन कमोडिटी मालिकों को नहीं.
  • इक्विटी शेयरों की समाप्ति तिथि नहीं होती है. जबकि कमोडिटी में ऐसा नहीं होता है.
  • इक्विटी मार्केट में शेयरहोल्डर डिविडेंड के योग्य माना जाता है. वहीं कमोडिटी मार्केट में डिविडेंड का प्रावधान नहीं होता.

भारत में कमोडिटी ट्रेडिंग के लिए प्रमुख एक्सचेंज हैं. इसमें मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX), नेशनल कमोडिटी एंड डेरिवेटिव्स एक्सचेंज (NCDEX) के साथ-साथ यूनिवर्सल कमोडिटी एक्सचेंज (UCX), नेशनल मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (NMCE), इंडियन कमोडिटी एक्सचेंज (ICEX), ACE डेरिवेटिव्स एंड कमोडिटी एक्सचेंज लिमिटेड शामिल हैं.

कमोडिटी ट्रेडिंग के कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है लिए अनुशंसाएं

  • CMP 155.20
  • Target Price 0.00
  • Stop Loss 300.00
  • CMP 33.90
  • Target Price 31.50
  • Stop Loss 31.50
  • CMP 68157.00
  • Target Price 67940.00
  • Stop Loss 67820.00
  • CMP 68183.00
  • Target Price 68650.00
  • Stop Loss 67880.00

13 दिनों में उछाल 10.60 %

12 दिनों में प्राप्त किया 7.00 %

9 दिनों में प्राप्त किया 7.60 %

8 दिनों में प्राप्त किया 5.40 %

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क्या किसी भी समय किसी भी कमोडिटी पर व्यापार / धारण की मात्रा की कोई सीमा है?

हाँ, उस मात्रा की अधिकतम अनुमेय सीमा है जिसे किसी विशेष कमोडिटी में कारोबार या आयोजित किया जा सकता है। यह सीमा संबंधित एक्सचेंजों और रेगुलेटर द्वारा निर्धारित की जाती है और कमोडिटी के अनुसार भिन्न होती है।

कैसे कमाए मुनाफा कमोडिटी मार्किट से, क्या हैं कमोडिटी में ट्रेडिंग का मन्त्र

अनिश्चितताओं से भरे कमोडिटी बाजार में मुनाफा कमाना आसान नहीं होता है। मोटे फायदे की संभावनाओं की तलाश अक्सर लोग इस वायदा आधारित जिंस (कमोडिटी) बाजार की ओर आकर्षित होते हैं, लेकिन कमोडिटी में ट्रेडिंग शुरू करने से पहले यह जानना काफी जरूरी है कि यह क्षेत्र काफी जोखिम भरा होता है। ऐसे में आवश्यक है कि आप इस ट्रेडिंग में प्रवेश करने से पहले कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है अपना होमवर्क पूरा कर लें। जिंस बाजार के जानकारों का मानना है कि अगर ये तीन सूत्र अपनाए जाएं, तो निवेशक जोखिम से बचा पाएंगे और मुनाफा भी कमा सकेंगे। दरअसल किसी कमोडिटी में कई बार कोई खबर आने से उसमें काफी तेज उछाल या काफी तीखी गिरावट आती है। अगर आपकी उस पर नजर बनी हुई है तो आप अच्छा फायदा उठा सकते हैं। इसके अलावा बढ़ती महंगाई के दौर में भी कमोडिटी बाजार आपको शानदार कमाई का मौका मुहैया कराता है। आम तौर पर यह देखा गया है कि महंगाई में कई कमोडिटी की कीमतों में बढ़ोतरी का रुझान आ जाता है। यही नहीं, आप कमोडिटी का इस्तेमाल हेजिंग के लिए भी कर सकते हैं।

कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है? – What Is Commodity Trading In Hindi

कमोडिटी ट्रेडिंग कैसे करें - How To Start Commodity Trading In India

कमोडिटी ट्रेडिंग कैसे करें – How To Start Commodity Trading In India

कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है: रोजाना उपयोग में आने वाली कमोडिटी को एक्सचेंज के माध्यम से खरीदना – बेचने को कमोडिटी ट्रेडिंग कहते है। जैसे: जौ, गेहूं, सोयाबीन, धनिया, जीरा, हल्दी, सोना, चांदी, क्रूड ऑइल, नेचुरल गैस इत्यादि को जब कमोडिटी ट्रेडिंग क्या है कमोडिटी एक्सचेंज पर ख़रीदा और बेचा जाता है तो उसे Commodity Trading कहा जाता है।

Commodity 2 प्रकार की होती है –

  1. Agriculture Commodity (एग्रीकल्चर कमोडिटी)
  2. Non Agriculture Commodity (नॉन एग्रीकल्चर कमोडिटी)

MCX और NCDEX क्या है

1. MCX (Multi Commodity Exchange): MCX एक नोन एग्रीकल्चर कमोडिटी एक्सचेंज है जिसमें मुख्य रूप से Non Agriculture Commodity जैसे: सोना, चांदी, क्रूड ऑइल, नेचुरल गैस और बेस मेटल का कारोबार होता है। नॉन एग्री कमोडिटी ट्रेडिंग सोमवार से शुक्रवार, सुबह 10 बजे से रात 11:55 बजे तक होती है। Non Agriculture Commodity Market लगभग पुरे दिन ओपन रहता है।

2. NCDEX (National Commodity and Derivatives Exchange): NCDEX एक एग्रीकल्चर कमोडिटी एक्सचेंज है जिसमें मुख्य रूप से एग्रीकल्चर प्रोडक्ट जैसे: चना, जौ, गेहूं, ग्वार, सोयाबीन, धनिया, जीरा, हल्दी में कारोबार होता है। NCDEX में ट्रेडिंग सोमवार से शुक्रवार, सुबह 10 बजे से शाम 5 बजे तक होती है।(Commodity Market Basics In Hindi)

कैसे शुरू कर सकते है कमोडिटी ट्रेडिंग

Commodity Market में Trading शुरू करने के लिये किसी भी स्टॉक ब्रोकर के पास ट्रेडिंग अकाउंट ओपन करवाना होता है। ट्रेडिंग अकाउंट ओपन करवाने के लिये बैंक अकाउंट, पैन कार्ड, और एड्रेस प्रूफ का होना जरूरी है। ध्यान रहे जिस भी ब्रोकर के पास आप अपना ट्रेडिंग अकाउंट ओपन करवा रहे है वह MCX और NCDEX Exchange का मेंबर होना चाहिये, इसकी जानकारी ब्रोकर के वेबसाइट से ले सकते है।


भारत में कमोडिटी ट्रेडिंग Future And Option मार्किट यानि Derivatives Segment में होती है। जिसमें कमोडिटी एक्सचेंज खरीददार और विक्रेता को आपस में मिलवाते है और वे पहले से निर्धारित मात्रा और कीमत पर भविष्य की किसी तारीख पर ट्रेड को पूरा करने का अनुबंध करते है।

कमोडिटी ट्रेडिंग दो तरह के लोग करते है एक होते है हेजर्स और दूसरे सट्टेबाज़।

हेजर्स व्यापारी होते है जो किसी एक खास कमोडिटी में व्यापार करते है और उस कमोडिटी की कीमत में बहुत तेज़ी से कोई बहुत बड़ा बदलाव नहीं आ जाये इसके लिये वह उस कमोडिटी में पहले से ही अपनी पोजीशन बना कर रखते है।

सट्टेबाज़ कमोडिटी की कीमत में जो उतार – चढ़ाव आता उसका फायदा उठाकर ट्रेडिंग करते है और एक्सपायरी से पहले अपना प्रॉफिट और लोस्स जो भी हो उसे बुक करके ट्रेड से निकल जाते है।

इसे भी पढ़े: स्टॉक एक्सचेंज क्या होता है

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