Liquid Stock क्या है और लिक्विड स्टॉक कैसे चुनें?

लिक्विड स्टॉक क्या है? अगर आपने शेयर बाजार में ट्रेडिंग के बारे में कहीं पढ़ा या सुना होगा। तो वहां हमेशा शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? liquid stock को खरीदने व बेचने के लिए कहा जाता है। आज बड़े बड़े ट्रेडर्स लिक्विड स्टॉक में ट्रेड करने को कहते हैं। साथ ही जिस स्टॉक में liquidity नहीं होती है। तो उसमे ट्रेडिंग करने के लिए आपको हमेशा 'ना' ट्रेड करने की सलाह देते हैं।

आज के समय कई नये ट्रेडर्स शेयर मार्केट में एंट्री लिए है। जो ट्रेडिंग करके financial independent होना चाहते हैं। ट्रेडिंग के लिहाज से आपको liquidity का मतलब जानना बहुत जरूरी होता है।

खासकर यह लेख उन retail trader's के लिए फायदमंद है जो नॉन कॉमर्स बैकग्राउंड के है। शेयर मार्केट में liquidity शब्द उनके लिए थोड़ा टेक्निकल हो जाता है। इसलिए आज के लेख "liquid stock क्या होते हैं और liquid stock कैसे चुने?" के बारे में आसान शब्दो में जानेंगे। आइए तो फिर पहले जानते हैं कि मार्केट में liquidity शब्द का क्या अर्थ होता है।

Liquidity क्या है?

Liquidity का हिंदी में अर्थ "तरलता" होता है। इसका मतलब यह हुआ कि किसी भी asset शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? को कितनी आसानी से खरीदा और बेचा जा सकता है। यानी कि कोई भी asset जितना liquid होगा, उसकी उतनी आसानी से खरीद और बिक्री की जा सकता है। वहीं अगर कोई asset जितना illiquid होगा उसे बेचना और खरीदना उतना ही मुश्किल होता है।

Liquid Stock क्या है?

Liquid Stock का मतलब किसी भी शेयर को आसानी से कभी भी खरीदा और बेचा जा सकता है। यानी कि आपके पास जो भी शेयर है, उसे सही समय आने पर कैश में आसानी से बदला जा सके। अच्छी लिक्वडिटी वाले शेयरों में नजर रखना और उसमे ट्रेड या निवेश करने से आपको यह मदद मिलती है कि जब भी आपको एक मोटा प्रॉफिट हो तो उसे आसानी से बेच सके।

यदि आप illiquid stock में ट्रेड या निवेश करते हैं तो शायद यह भी हो सकता है, कि आपको कभी भी उस share को बेचना हो लेकिन कोई खरीदने वाला ना मिले। इसलिए प्रोफेशनल ट्रेडर्स और निवेशक आपको इस तरह के स्टॉक में ट्रेड या निवेश शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? करने से मना करते है। क्योंकि stock illiquid होने के कारण आपको बेचने में दिक्कत आ सकती है।

लिक्विड शेयरों के चार्ट में आपको हर एक मिनट कि कैंडल में बॉडी मिल जाती है। इस तरह के स्टॉक में हर एक मिनट में अच्छा वॉल्यूम होता है। Liquidity होने के कारण हर एक मिनट में शेयरों के प्राइस में उतार चढ़ाव होता रहता है। ज्यादातर penny stocks और कम प्राइस वाले शेयरों में लिक्वडिटी नहीं होती है।

Trading के लिए Liquid Stock क्यों महत्वपूर्ण है?

लिक्वडिटी का अर्थ आप लोग जान गए होगे। लेकिन क्या आपने कभी यह सोचा कि trading के लिए लिक्विड स्टॉक क्यों जरूरी होते हैं। आइए जानते हैं कि लिक्वडिटी बाजार को दो मुख रूप से कैसे प्रभावित करती है:-

1. मूल्य प्रसार ( Price Spread )

Finance में स्प्रेड का मतलब दो प्राइस, रेट्स, या यील्ड का अंतर होता है। अगर आसान शब्दो में बताए तो मूल्य प्रसार मार्केट के खरीदार और विक्रेता के ऑर्डर्स का अंतर होता है। यह हमें बताने की कोशिश करता है कि एक खरीदार और विक्रेता के खरीद और बिक्री के प्राइस में क्या अंतर है।

Liquid Stock खरीद प्राइस और बिक्री प्राइस के बीच में आने वाले गैप को कम करने की कोशिश करता है। यानी कि लिक्विड स्टॉक में low price spread होता है। वहीं illiquid stock में खरीद प्राइस और बिक्री प्राइस के बीच में आने वाला गैप बहुत ज्यादा होता है। यानी कि illiquid स्टॉक में high price spread होता है। इसलिए illiquid स्टॉक में किसी भी शेयर को खरीदना और बेचना मुश्किल हो जाता है।

2. Slippage

Slippage का हिंदी में अर्थ "फिसलन" या " गिरावट" होता है। वहीं ट्रेडिंग slippage का मतलब अपेक्षित कीमत (expected price) और उस कीमत के बीच का अंतर जो ट्रेड निष्पादित (executed) हो चुका है। वैसे तो बाजार में शेयरों के प्राइस में तेजी से उतार चढ़ाव आता है। इसलिए slippage कभी भी हो सकता है। लेकिन ज्यादातर समय slippage होने कारण शेयर में high volatility होती है। दूसरी तरफ इसके होने का कारण यह भी है कि जब कोई बड़े मात्रा में ऑर्डर को executed किया जाता है, लेकिन उस समय bid/ask प्राइस के बीच में स्प्रेड बनाए रखने के लिए चयन किए गए प्राइस में वॉल्यूम नहीं होता है। बता दू कि liquid stock में illiquid stock में मुकाबले slippage कम होती है।

Slippage को हम दो प्रकार में भिवाजित कर सकते हैं। एक सकारात्मक गिरावट और दूसरा नकारात्मक गिरावट है। सकारात्मक गिरावट तब होती है जब लॉन्ग ट्रेड में ask price का कम होना और शॉर्ट ट्रेड में bid price का बढ़ना होता है। वहीं नकारात्मक गिरावट तब होती है जब लॉन्ग ट्रेड में ask price का बढ़ना होना और शॉर्ट ट्रेड में bid price का कम होना होता है।

Trading के लिए Liquid Stocks को कैसे चुने?

Trading के लिए लिक्विड स्टॉक का होना आवश्यक है। खासकर intraday trading के लिए highly liquid stocks का होना जरूरी है। स्टॉक में वॉल्यूम के साथ साथ volatility होने से शेयर कि लिक्विडिटी बढ़ जाती है। आइए तो फिर जानते हैं की ट्रेडिंग के लिए लिक्वड स्टॉक्स कैसे चुने?

1. High Trade Volume

किसी भी स्टॉक में high volume होने का मतलब उस स्टॉक पर एक दिन में कितनी खरीद और बिक्री हुई है। हाई वॉल्यूम यानी कि उस स्टॉक में हाई लिक्विडिटी का होना है।

2. Bid/Ask प्राइस में कम अंतर होना

Bid/Ask प्राइस में कम अंतर होने का मतलब यह हुआ की उस स्टॉक को खरीदने के लिए अनेकों खरीददार मौजूद है। वहीं दूसरी तरफ अनेकों विक्रेता उस स्टॉक को बेचने के लिए मौजूद है। इससे slippage कि कमी और high liquidity होना दर्शाता है।

3. मध्य volatility वाले शेयरों को चुने

अगर किसी स्टॉक में कम लिक्विडिटी यानी कि वोलैटिलिटी बिल्कुल भी नहीं है। वह स्टॉक जो पूरी तरह से choppy है। उनसे हमेशा दूर रहना चाहिए। लेकिन वही दूसरी तरफ अगर स्टॉक ज्यादा वोलेटाइल होगा, तो उसमे नुकसान भी उतना ही ज्यादा हो सकता है। इसलिए ट्रेडिंग के लिए मध्य volatility वाले शेयरों को चुने। मध्य volatility वाले शेयरों में रिस्क, हाई volatility वाले शेयरों से कम होता है।

निष्कर्ष

ट्रेडर्स के नजरिए से स्टॉक में लिक्विडिटी होना बहुत जरूरी होता है। हाई लिक्विडिटी वाले स्टॉक को आसानी से खरीदा और बेचा जा सकता है। इस तरह के स्टॉक को शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? जल्दी से नकदी में बदला जा सकता है। अगर किसी स्टॉक में लिक्विडिटी नहीं है तो शायद आप एक अच्छी ऑपर्च्युनिटी खो दे।

डे ट्रेडर्स को हाई लिक्विडिटी वाले स्टॉक का चयन करना चाहिए। क्योंकि उन्हें एक दिन में कई सौदे करने पड़ते हैं। अगर दूसरी तरफ देखे तो स्टॉक में लिक्विडिटी नहीं होने के कारण आप एक दिन में कई ट्रेड ना ले पाए। Illiquid stocks में आपके रिस्क कैपेसिटी से भी ज्यादा का नुकसान हो सकता है।

उम्मीद करता हूं कि आपको आज का लेख "liquid stocks क्या है? लिक्वड स्टॉक कैसे चुने?" पसंद आया होगा। ऐसे ही वित्तीय बाजार के बारे में और अधिक जानकारी प्राप्त करने के लिए हमारे ब्लॉग से जुड़े रहे। हम यहां आपको वित्तीय बाजार के साथ साथ टेक्नोलॉजी से जुड़ी अन्य जानकारियां भी साझा करते हैं।

VIDEO: बनना है करोड़पति तो सिर्फ 10,000 रुपये से करें शुरुआत, प्रांजल कामरा से जानें कैसे चुनें सही शेयर

Stock Market: लोग मानते हैं कि शेयर बाजार में निवेश के लिए शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? बड़ी रकम चाहिए. लेकिन कामरा कहते हैं कि सिर्फ 10,000 रुपये भी मालामाल कर सकते हैं.

  • प्रियंका संभव
  • Publish Date - April 17, 2021 / 06:48 PM IST

VIDEO: बनना है करोड़पति तो सिर्फ 10,000 रुपये से करें शुरुआत, प्रांजल कामरा से जानें कैसे चुनें सही शेयर

Stock Market: शेयर बाजार में निवेश करने से पहले लोगों को आमतौर पर दो सवाल सबसे ज्यादा परेशान करते हैं. पहला ये कि क्या शेयर बाजार का जोखिम लेना चाहिए और दूसरा ये कि अगर शुरुआत करें तो किस कंपनी के स्टॉक के साथ? 24 लाख सब्सक्राइबर्स को शेयर मार्केट के इन्हीं सवालों के जवाब देते हैं मशहूर यूट्यूबर प्रांजल कामरा. उनका मानना है कि सभी अमीर बनना चाहते हैं लेकिन इसके लिए निवेश की आदत डालनी जरूरी है. रिटर्न देने के मोर्चे पर शेयर बाजार और म्यूचुअल फंड्स बेजोड़ रहे हैं. बस दो बातों का रखना होगा ख्याल – पहला कि इक्विटी में पैसा लगाएं तो लंबे समय के लिए और दूसरा कि हर किसी की राय के आधार पर अपनी निवेश रणनीति ना बदलते रहें.

कैसे चुनें सही स्टॉक?

जब कोई शेयर बाजार (Stock Market) में निवेश शुरू करता है तो सबसे बड़ी उलझन यही होती है कि किस शेयर से शुरुआत कर पैर जमाए जाएं. अगर आप एक शेयर नहीं चुन पा रहे शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? हैं या ज्यादा जोखिम नहीं लेना चाहते तो म्यूचुअल फंड चुनकर भी शेयर बाजार में निवेश कर सकते हैं. कामरा कहते हैं कि शेयर चुनने का गुरूमंत्री यही है कि आप जिस कंपनी का सामान खरीदते हैं, जिसके बिजनेस मॉडल को समझते हैं और अपने आस-पास जिस कंपनी के सामान को धडल्ले से बिकते देख रहे हैं, यानी जिसकी डिमांड हैं तो बस वही है वो शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? कंपनी जिसपर आपको दांव लगाना चाहिए और शेयर खरीदना चाहिए.

10,000 रुपये बनाएंगे करोड़पति?

कई बार लोग ये मानते हैं कि शेयर बाजार (Stock Market) में एंट्री के लिए उन्हें ढेर सारे पैसे चाहिए. लेकिन कामरा कहते हैं कि सिर्फ 10,000 रुपये भी आपको मालामाल कर सकते हैं. निवेश की ठानें और कोशिश करने पर आप 3-4 महीनों में 10,000 जमा कर पाएंगे. इस रकम को लगातार इन्वेस्ट करते रहिए. जितना लंबा ये इन्वेस्टमेंट चक्र चलेगा आपकी कमाई उतनी ज्यादा होगी. 10,000 रुपये में तीन बार ऐसी कंपनी ढूंढें जिनकी आय 10 गुना बढ़े और आप उस कंपनी के बारे में जानते हों. 10,000 रुपये 10 साल में हो जाएंगे 1 लाख और इस 1 लाख को दोबारा इन्वेस्ट करेंगे तो 10 साल में बनेंगे 10 लाख. इस निवेश के चक्र को आगे बढ़ाएं और आप बन सकते हैं करोड़पति.

इसका मतलब ये बिल्कुल नहीं कि आप ढेरों शेयर बटोरते जाएं. बस 10 चुनिंदा अच्छी कंपनियों के शेयर चुनें और उनमें निवेश करें. समय-समय पर समीक्षा करते रहें.

शेयर बाजार से कैसे कमाया जा सकता है पैसा?

निवेश करना सरल है, मगर इसे खेल नहीं समझना चाहिए. बाजार में सफल होने का कोई फॉर्मूला या शॉर्ट-कट नहीं है.

शेयर बाजार से कैसे कमाया जा सकता है पैसा?

निवेश करना सरल है, मगर इसे खेल नहीं समझना चाहिए. इसके लिए बाजार की समझ तो जरूरी है ही. बाजार में सफल होने का कोई फॉर्मूला या शॉर्ट-कट नहीं है. मगर कुछ बातों पर अमल कर मुनाफा बढ़ाया जा सकता है. आइए जानते हैं क्या हैं ये बातें.

अपना होमवर्क पूरा करें
दिग्गज वैश्विक फंड प्रबंधक पीटर लिंच का कहना है, "यदि आप किसी कंपनी के बारे में अध्ययन नहीं करते हैं, तो अच्छे शेयर का चयन करना जुआ ही है. आप पत्ते देखे बिना ही अपनी चाल चल रहे हैं." लिंच ने कहा कि निवेश सिर्फ वहीं करें, जिसके बारे में आपको पता हो.

ऑनलाइन फाइनेंस पोर्टल 5नेंस के संस्थापक और सीईओ दिनेश रोहिरा का मानना है कि बाजार से कमाई करने का कोई शॉर्ट-कट नहीं है. उन्होंने कहा, "धीरज के साथ गहन मंथन करना अनिवार्य है. अच्छे बिजनेस में निवेश करना चाहिए."

1

बिजनेस में करें निवेश
निवेशकों को शेयर की कीमत में नहीं, बल्कि कंपनी के बिजनेस में निवेश करना चाहिए. आईआईएफएल सिक्योरिटीज के अभिमन्यु सोफट ने कहा, "किसी भी बिजनेस को समझना कंपनी की समझ को बेहतर करता है. इससे निवेश निर्णय लेना सरल हो जाता है."

उदाहरण के लिए वॉरेन बफे के निवेश का प्राथमिक दर्शन यही है कि वे उन्हीं कंपनियों में निवेश करते हैं, जिनके बिजनेस के बारे में समझ रखते हैं. उन्होंने 1988 में कोका कोला में $1 बिलियन का निवेश किया था. कंपनी ने 30 सालों तक 10 फीसदी की दर से रिटर्न दिया.

भेड़चाल से रहें दूर
किसी परिचित, परिजन या दोस्त की बातों में आकर बेकार कंपनियों में निवेश करना पैसे में आग लगाने जैसा है. लोग निवेश कर रहे हैं, इसलिए आप भी निवेश करेंगे- इस सोच से बचना चाहिए. लोगों ने दूसरों की देखादेखी कई कंपनियों में निवेश किया और उन्हें मुंह की खानी पड़ी.

उदाहरण के लिए रिलायंस पावर के आईपीओ को 14.4 गुना तक सब्सक्राइब किया गया था. कंपनी को रिटेले निवेशकों से 19.5 लाख आवेद मिले थे. आईपीओ का इश्यू प्राइस 450 रुपये था. इस शेयर की मौजूदा कीमत महज 30 रुपये ही है. ऐसे कई उदाहरण बाजार में मौजूद हैं.

अनुशासन का रखें ध्यान
निवेश में संयम और अनुशासन की खास जगह है. शेयर बाजार हमेशा ही अस्थिर होते हैं. निवेशकों को अपनी जोखिम क्षमता का आभास होना चाहिए. गैर-जरूरी जोखिम से बचना चाहिए. टॉरस एमएफ के सीईओ वकार नकवी ने कहा कि धीरज और संयम निवेशकों को दीर्घावधि की बेहतर तस्वीर देते हैं.

money-coins-earnings-ts

विस्तृत हो पोर्टफोलियो
अपने पोर्टफोलियो में तमाम प्रकार के एसेट क्लास को जगह दें. इस तरह कम जोखिम में बेहतर कमाई की जा सकती है. विविधता की परिभाषा हर निवेशक के लिए अलग हो सकती है. हालांकि, इससे बाजार की स्थिति से निपटना सरल हो जाता है. निवेश एसेट क्लास की प्राथमिकता को सावधानी से चुनें.शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें?

वास्तविकता में जीना बेहतर
कई निवेशक रातोंरात पैसा बनाने की ख्वाहिश रखते हैं. हालांकि, बाजार धीरे-धीरे रिटर्न देता है. कमाई करना सरल नहीं है. टॉरस एमएफ के नकवी ने कहा, "कोई भी एसेट लंबे शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? समय तक आश्चर्यजनक रिटर्न नहीं दे सकता. अत्यधिक उम्मीदें रखना गलत है."

शेयर बाजार में घुसने और निकलने का भी समय होता है. यह अवसर बाजार की स्थिति के अनुसार बार-बार आते हैं. इसलिए जरूरी है कि अपने हाथ में कुछ पैसा रखें. यदि बाजार अपने आधार को मजबूत कर रहा हो, तो उस गिरावट से नहीं घबराना चाहिए.

अतिरिक्त फंड का ही करें निवेश
निवेशकों शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? को सिर्फ अतिरिक्त फंड का ही निवेश करना चाहिए. वे उस पैसे का भी इस्तेमाल कर सकते हैं, जो उन्हें छोटी अवघि में नहीं चाहिए. अस्थिरता के कारण छोटी अवधि में वैल्यू घट सकती है. बाजार चक्र में चलता है.

वैश्विक बाजार गुरु सर जॉन टेम्पलटन कहते हैं कि बाजार में सबसे खतरनाक वाक्य है: "इस बार यह अलग है." निवेश के लिए सही सोच और मानसिकता की जरूरत होती है.

earnings-bccl

लगातार रखें नजर
सिर्फ निवेश कर देना ही पर्याप्त नहीं. नियामक और बाजार की खबरों पर भी नजर रखना चाहिए. इसका असर शेयरों की कीमतों पर पड़ता है. उदाहरण के लिए कमर्शियल वाहनों के लिए एक्सल लोड लिमिट बढ़ने से अशोक लेलैंड के शेयर टूट गए. अच्छी कमाई शेयरों में उछाल ला सकती है.

कैसे होगी कमाई?
बातें सुन कर निवेश करने की प्रबल इच्छा जागृत हो सकती है, मगर बाजार की गति कई बार समझ के परे होती है. इसलिए सही रणनीति का चयन जरूरी है. कई बार अच्छी रणनीति भी फेल हो जाती है. मौजूदा समय में सेंसेक्स रिकॉर्ड स्तर पर है, मगर अधिकांश शेयरों की कीमत इस साल घटी है.

ऐसी स्थितियां निवेशकों को असमंजस में डाल देती हैं, जहां वे कुछ नहीं समझ पाते. निवेश लंबी अवधि के लिए किया जाए तो बेहतर है. बाजार में एक पैसा बचाना भी आपकी कमाई है. यदि आपको किसी बिजनेस पर भरोसा नहीं, तो उसमें निवेश नहीं करें.

इसे बभी पढ़ें: HDFC AMC का आईपीओ खुला, क्या है विश्लेषकों की राय?
पिछले 15 साल में बीएसई सेंसेक्स 16 फीसदी की दर से बढ़ा है, जबकि इस दौरान सिम्फनी, बोरोसिल ग्लास वर्क्स, मयूर युनिकोटर्स, टीटीके प्रेस्टीज और बजाज फाइनेंस ने 50 फीसदी की दर से रिटर्न दिया है. बाजार से निकलने का समय भी अहम है.

मोजर बेयर इंडिया के शेयर की कीमत जुलाई 2018 में 2 रुपये पर आ गई. जुलाई 2003 में इस शेयर की कीमत 110 रुपये से ऊपर थी. इस दौरान एमटीएनएल के शेयरों ने भी 105 रुपये से 15 रुपय तक का गोता लगाया है. शेयरों का चुनाव करने के लिए पेशेवर सलाहकारों की मदद भी ली जा सकती है.

हिंदी में पर्सनल फाइनेंस और शेयर बाजार के नियमित अपडेट्स के लिए लाइक करें हमारा फेसबुक पेज. इस पेज को लाइक करने के लिए यहां क्लिक करें.

Intraday Trading के लिए सबसे बढ़िया स्टॉक कैसे चुनें?

Intraday Stock Selection Tips: इक्विटी मार्केट में मुनाफा कमाने के सबसे उम्दा तरीकों में से एक इंट्राडे ट्रेडिंग है। लेकिन सवाल आता है कि अपने लिए बेस्ट इंट्राडे स्टॉक का चयन कैसे करें? (How to choose the best intraday stock?) तो बताए गए टिप्स का पालन करके बेस्ट स्टॉक चुने।

Intraday Trading Tips in Hindi: इक्विटी मार्केट में मुनाफा कमाने के सबसे उम्दा तरीकों में से एक इंट्राडे ट्रेडिंग है, हालांकि यह काफी जोखिम भरा है, लेकिन इसमें रिटर्न काफी अच्छा है। जैसा कि नाम से ही पता चलता है, Intraday Trading में एक ही ट्रेडिंग दिन में स्टॉक खरीदना (Buy) और बेचना (Sell) शामिल है।

अटक की कीमतों में उतार-चढ़ाव तेज होता है, इसलिए व्यापारियों के लिए उच्च स्तर के जोखिम और कम लाभ के लक्ष्य के प्रति सचेत रहना आवश्यक है। इंट्राडे ट्रेडिंग में बड़ी संख्या में छोटे-लाभकारी ट्रेड करना शामिल है, जो लंबे समय में जुड़ जाता है।

हालांकि जब Intraday Trading की बात आती है, तो सभी स्टॉक इस स्ट्रेटेजी के लिए सही विकल्प नहीं हो सकते हैं। इसलिए इस स्ट्रेटेजी के साथ आगे बढ़ने से पहले सही स्टॉक चुनना बहुत महत्वपूर्ण है। अब सवाल आता है कि अपने लिए बेस्ट इंट्राडे स्टॉक का चयन कैसे करें? (How to choose the best intraday stock?) यहां कुछ शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? टिप्स बताए गए है जिनका अनुसरण करके आप Intraday Trading के लिए बढ़िया स्टॉक चुन सकते है।

1) लिक्विड स्टॉक की तलाश करें

ऐसे स्टॉक जिन्हें आसानी से खरीदा और बेचा जा सकता है, लिक्विड स्टॉक कहलाते हैं। जब इंट्राडे आधार पर स्टॉक ट्रेडिंग की बात आती है तो लिक्विडिटी बहुत बड़ी भूमिका निभाती है क्योंकि आप उन्हें उसी दिन खरीद और बेच रहे होंगे।

आमतौर पर लार्ज कैप और मिड कैप स्टॉक स्मॉल कैप कैटेगरी के शेयरों की तुलना में अधिक लिक्विड होते हैं। इसलिए, अगर आप इंट्राडे ट्रेडिंग के जरिए जल्दी मुनाफा कमाना चाहते हैं तो ऐसे शेयरों में बने रहने की सलाह दी जाती है।

2) अत्यधिक उतार-चढ़ाव वाले शेयरों से दूर रहें

अस्थिरता इस बात का सूचक है कि किसी शेयर का शेयर मूल्य कितनी जल्दी बदलता है। अत्यधिक अस्थिर स्टॉक आमतौर पर सेकंड या मिनटों के भीतर कीमतों को बहुत तेज़ी से बदलते हैं। और कम अस्थिरता वाले शेयरों की कीमत अधिक स्थिर होती है, जिसमें दोनों तरफ कम गति होती है।

Intraday Trading में भाग लेते समय मध्यम अस्थिरता वाले शेयरों से चिपके रहना एक अच्छा विचार है। यह न केवल सुरक्षित होगा, बल्कि आपको कई ट्रेडों को जल्दी से करने की अनुमति भी देगा। हालांकि अत्यधिक अस्थिर शेयरों का कारोबार किया जा सकता है, लेकिन कीमत में बेतहाशा बदलाव के कारण वे बहुत जोखिम भरे हैं।

3) बाजार के रुझान के साथ चलने वाले शेयरों को चुनें

सभी शेयर बाजार के रुझान का पालन नहीं करते हैं। कुछ इसका विरोध भी कर सकते हैं। उदाहरण के लिए, यदि बेंचमार्क सूचकांक पॉजिटिव हैं, तो यह पॉजिटिव मार्केट प्रवृत्ति को दर्शाता है और इसके विपरीत, बाजार की प्रवृत्ति का पालन करने वाले शेयरों में व्यापार करने से मौजूदा प्रवृत्ति के विपरीत चलने वाले शेयरों में व्यापार की तुलना में मुनाफा कमाने का एक शेयर बाजार में स्टॉक कैसे चुनें? बेहतर मौका है। इसलिए, अगर बाजार का रुख सकारात्मक है, तो ऐसे शेयरों में बने रहने की कोशिश करें, जिनमें तेजी भी हो।

4) ऐसे स्टॉक चुनें जिनका डेरिवेटिव सेगमेंट में भी कारोबार होता है

जब सबसे अच्छा इंट्राडे स्टॉक चुनते हैं, तो उन शेयरों से चिपके रहना एक अच्छा विचार है, जिनकी डेरिवेटिव सेगमेंट में उपस्थिति है। इस तरह के स्टॉक मध्यम रूप से अस्थिर और अत्यधिक तरल होते हैं, जो दो सबसे अच्छी विशेषताएं हैं जो आप इंट्राडे ट्रेडिंग के लिए स्टॉक में चाहते हैं। वह सब कुछ नहीं हैं, जिन कंपनियों के शेयर डेरिवेटिव सेगमेंट में हैं, उनके बारे में जानकारी प्राप्त करना भी कहीं अधिक आसान है क्योंकि वे प्रकृति में अधिक पारदर्शी होते हैं।

Conclusion -

ऊपर उल्लिखित सभी युक्तियों का उपयोग करके, आप कुछ ही समय में व्यापार करने के लिए सबसे अच्छा इंट्राडे स्टॉक जल्दी और आसानी से चुन सकते हैं। हालांकि स्टॉक ट्रेडिंग के साथ शुरुआत करने के लिए, आपके पास पहले एक डीमैट खाता होना चाहिए।

रेटिंग: 4.72
अधिकतम अंक: 5
न्यूनतम अंक: 1
मतदाताओं की संख्या: 226