“विकेंद्रीकृत शासन संरचना अंदर के हमलावरों के खिलाफ सुरक्षा करती है, और एक विकेंद्रीकृत कार्यान्वयन बाहर के शक्तिशाली हमलावरों (‘सेंसरशिप प्रतिरोध’) से बचाता है।”

डोभाल ने मध्य-एशिया के अपने समकक्षों के साथ की बैठक, आतंकवाद से निपटने के तरीकों पर की चर्चा

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार ने कहा कि बैठक अंतरराष्ट्रीय संबंधों में उथल-पुथल और भविष्य को लेकर कायम अनिश्चितता के बीच हो निवेश करने के लिए संदर्भ खाते रही है।

Image: PTI/Shutterstock

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल ने मंगलवार को कहा कि वित्तीय सहायता आतंकवाद की जड़ है और आतंकवाद के वित्तपोषण को रोकने को अधिक प्राथमिकता दी जानी चाहिए।

डोभाल ने प्रमुख क्षेत्रीय सुरक्षा चुनौतियों से निपटने के लिए एक समान ढांचा विकसित करने के मकसद से मध्य-एशियाई क्षेत्र के अपने समकक्षों की मंगलवार को मेजबानी करते हुए यह बयान दिया।

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों की भारत-मध्य एशिया बैठक की शुरुआत करते हुए अपने संबोधन में डोभाल ने चीन की ‘बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव’ (बीआरए) परियोजना के संदर्भ में कहा, ‘‘ संपर्क परियोजनाओं का विस्तार करते समय, यह सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है कि सभी देशों की संप्रभुता व क्षेत्रीय अखंडता के मद्देनजर संपर्क कायम करने के कदम पारदर्शी हों व परामर्श तथा भागीदारी से उठाए जाएं।’’

डोभाल ने मध्य-एशिया को भारत का ‘‘विस्तारित पड़ोसी’’ करार देते हुए कहा कि भारत इस क्षेत्र को ‘‘सर्वोच्च प्राथमिकता’’ देता है। उन्होंने कहा कि अफगानिस्ताान एक महत्वपूर्ण मुद्दा है, ‘‘ जिसे लेकर सभी चिंतित हैं।’’

डोभाल ने अफगानिस्तान सहित क्षेत्र में आतंकवाद की चुनौतियों से निपटने के लिए एक समान ढांचा विकसित करने और जनवरी में हुए पहले भारत-मध्य एशिया शिखर सम्मेलन में किए गए फैसलों के साथ समग्र निवेश करने के लिए संदर्भ खाते सुरक्षा सहयोग को मजबूत करने के तरीकों पर ध्यान देने के मकसद से सम्मेलन की मेजबानी की।

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार ने कहा कि बैठक अंतरराष्ट्रीय संबंधों में उथल-पुथल और भविष्य को लेकर कायम अनिश्चितता के बीच हो रही है।

उन्होंने कहा कि एक शांतिपूर्ण, सुरक्षित व समृद्ध मध्य-एशिया के लिए ‘‘ हमारे हित एक से ’’ हैं।

डोभाल ने कहा, ‘‘ आज की बैठक, इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि यह हमें उन मामलों पर चर्चा करने का अवसर देती है जिनके लिए क्षेत्रीय देशों के बीच अधिक सहयोग व समन्वय की आवश्यकता है।’’

अपने संक्षिप्त संबोधन में डोभाल ने अधिकतर आतंकवाद की चुनौती, अफगानिस्तान की स्थिति और क्षेत्रीय संपर्क परियोजनाओं के महत्व पर बात की।

जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा जैसे पाकिस्तान आधारित आतंकवादी संगठनों सहित आतंकवादी कृत्यों के लिए अफगानिस्तान की सरजमीं के इस्तेमाल को लेकर भारत की बढ़ती चिंताओं के बीच उन्होंने कहा, ‘‘ वित्त पोषण आतंकवाद का आधार है और आतंकवाद के वित्त पोषण को रोकना हम सभी की एक समान प्राथमिकता होनी चाहिए।’’

कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार इस बैठक में हिस्सा ले रहे हैं, जबकि बैठक में तुर्कमेनिस्तान का प्रतिनिधित्व भारत में उसके राजदूत कर रहे हैं।

डोभाल ने कहा, ‘‘ अफगानिस्तान एक महत्वपूर्ण मुद्दा है, जिसे लेकर सभी चिंतित हैं। अफगानिस्तान में तात्कालिक प्राथमिकताओं के संबंध में भारत के लक्ष्य इस मंच पर मौजूद कई देशों के समान हैं।’’

उन्होंने कहा कि मध्य-एशियाई देशों के साथ संपर्क भारत की एक प्रमुख प्राथमिकता बनी हुई है और भारत इस क्षेत्र में सहयोग, निवेश और संपर्क कायम रखने को तैयार है।

डोभाल ने कहा, ‘‘ हमें संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों से आतंकवादी कृत्यों में शामिल संस्थाओं या लोगों को किसी भी प्रकार की सहायता प्रदान करने से बचने और आतंकवाद-रोधी समझौतों व ‘प्रोटोकॉल’ में निहित दायित्वों को पूरा करने का आह्वान भी करना चाहिए।’’

डोभाल ने जनवरी में हुए पहले भारत-मध्य एशिया शिखर सम्मेलन का भी उल्लेख किया जिसकी मेजबानी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने की थी। यह सम्मेलन ऑनलाइन आयोजित किया गया था।

उन्होंने कहा, ‘‘ आपकी उपस्थिति हमारे सामंजस्य का प्रमाण है और यह चर्चाओं को समृद्ध करेगी। मध्य एशिया हमारा विस्तारित पड़ोसी है जिसके साथ हमारे सभ्यता आधारित संबंध हैं और निवेश करने के लिए संदर्भ खाते हम इस क्षेत्र को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हैं।’’

डोभाल ने कहा, ‘‘ हमारे नेताओं की जनवरी की बैठक में क्षेत्र में सुरक्षा संबंधी मुद्दों पर चर्चा के लिए सुरक्षा परिषदों के सचिवों की नियमित बैठक बुलाने पर सहमति बनी थी। यह बैठक उसी आधार पर हो रही है।’’

वहीं ताजिकिस्तान के सुरक्षा परिषद के सचिव ने कहा कि क्षेत्र में सुरक्षा संबंधी खतरे बढ़ रहे हैं और नई चुनौतियां सामने आ रही हैं जिसमें ‘‘ साइबर अपराध, साइबर आतंकवाद और पर्यावरण एवं जैविक खतरे’’ शामिल हैं।

डोभाल ने मध्य-एशिया के अपने समकक्षों के साथ की बैठक, आतंकवाद से निपटने के तरीकों पर की चर्चा

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार ने कहा कि बैठक अंतरराष्ट्रीय संबंधों में उथल-पुथल और भविष्य को लेकर कायम अनिश्चितता के बीच हो रही है।

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राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल ने मंगलवार को कहा कि वित्तीय सहायता आतंकवाद की जड़ है और आतंकवाद के वित्तपोषण को रोकने को अधिक प्राथमिकता दी जानी चाहिए।

डोभाल ने प्रमुख क्षेत्रीय सुरक्षा चुनौतियों से निपटने के लिए एक समान ढांचा विकसित करने के मकसद से मध्य-एशियाई क्षेत्र के अपने समकक्षों की मंगलवार को मेजबानी करते हुए यह बयान दिया।

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों की भारत-मध्य एशिया बैठक की शुरुआत करते हुए अपने संबोधन में डोभाल ने चीन की ‘बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव’ (बीआरए) परियोजना के संदर्भ में कहा, ‘‘ संपर्क परियोजनाओं का विस्तार करते समय, यह सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है कि सभी देशों की संप्रभुता व क्षेत्रीय अखंडता के मद्देनजर संपर्क कायम करने के कदम पारदर्शी हों व परामर्श तथा भागीदारी से उठाए जाएं।’’

डोभाल ने मध्य-एशिया को भारत का ‘‘विस्तारित पड़ोसी’’ करार देते हुए कहा कि भारत इस क्षेत्र को ‘‘सर्वोच्च प्राथमिकता’’ देता है। उन्होंने कहा कि अफगानिस्ताान एक महत्वपूर्ण मुद्दा है, ‘‘ जिसे लेकर सभी चिंतित हैं।’’

डोभाल ने अफगानिस्तान सहित क्षेत्र में आतंकवाद की चुनौतियों से निपटने के लिए एक समान ढांचा विकसित करने और जनवरी में हुए पहले भारत-मध्य एशिया शिखर सम्मेलन में किए गए फैसलों के साथ समग्र सुरक्षा सहयोग को मजबूत करने के तरीकों पर ध्यान देने के मकसद से सम्मेलन की मेजबानी की।

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार ने कहा कि बैठक अंतरराष्ट्रीय संबंधों में उथल-पुथल और भविष्य को लेकर कायम अनिश्चितता के बीच हो रही है।

उन्होंने कहा कि एक शांतिपूर्ण, सुरक्षित व समृद्ध मध्य-एशिया के लिए ‘‘ हमारे हित एक से ’’ हैं।

डोभाल ने कहा, ‘‘ आज की बैठक, इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि यह हमें उन मामलों पर चर्चा करने का अवसर देती है जिनके लिए क्षेत्रीय देशों के बीच अधिक सहयोग व समन्वय की आवश्यकता है।’’

अपने संक्षिप्त संबोधन में डोभाल ने अधिकतर आतंकवाद की चुनौती, अफगानिस्तान की स्थिति और क्षेत्रीय संपर्क परियोजनाओं के महत्व पर बात की।

जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा जैसे पाकिस्तान आधारित आतंकवादी संगठनों सहित आतंकवादी कृत्यों के लिए अफगानिस्तान की सरजमीं के इस्तेमाल को लेकर भारत की बढ़ती चिंताओं के बीच उन्होंने कहा, ‘‘ वित्त पोषण आतंकवाद का आधार है और आतंकवाद के वित्त पोषण को रोकना हम सभी की एक समान प्राथमिकता होनी चाहिए।’’

कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार इस बैठक में हिस्सा ले रहे हैं, जबकि बैठक में तुर्कमेनिस्तान का प्रतिनिधित्व भारत में उसके राजदूत कर रहे हैं।

डोभाल ने कहा, ‘‘ अफगानिस्तान एक महत्वपूर्ण मुद्दा है, जिसे लेकर सभी चिंतित हैं। अफगानिस्तान में तात्कालिक प्राथमिकताओं के संबंध में भारत के लक्ष्य इस मंच पर मौजूद कई देशों के समान हैं।’’

उन्होंने कहा कि मध्य-एशियाई देशों के साथ संपर्क भारत की एक प्रमुख प्राथमिकता बनी हुई है और भारत इस क्षेत्र में सहयोग, निवेश और संपर्क कायम रखने को तैयार है।

डोभाल ने कहा, ‘‘ हमें संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों से आतंकवादी निवेश करने के लिए संदर्भ खाते कृत्यों में शामिल संस्थाओं या लोगों को किसी भी प्रकार की सहायता प्रदान करने से बचने और आतंकवाद-रोधी समझौतों व ‘प्रोटोकॉल’ में निहित दायित्वों को पूरा करने का आह्वान भी करना चाहिए।’’

डोभाल ने जनवरी में हुए पहले भारत-मध्य एशिया शिखर सम्मेलन का भी उल्लेख किया जिसकी मेजबानी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने की थी। यह सम्मेलन ऑनलाइन आयोजित किया गया था।

उन्होंने कहा, ‘‘ आपकी उपस्थिति हमारे सामंजस्य का प्रमाण है और यह चर्चाओं को समृद्ध करेगी। मध्य एशिया हमारा विस्तारित पड़ोसी है जिसके साथ हमारे सभ्यता आधारित संबंध हैं और हम इस क्षेत्र को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हैं।’’

डोभाल ने कहा, ‘‘ हमारे नेताओं की जनवरी की बैठक में क्षेत्र में सुरक्षा संबंधी मुद्दों पर चर्चा के लिए सुरक्षा परिषदों के सचिवों की नियमित बैठक बुलाने पर सहमति बनी थी। यह बैठक उसी आधार पर हो रही है।’’

वहीं ताजिकिस्तान के सुरक्षा परिषद के सचिव ने कहा कि क्षेत्र में सुरक्षा संबंधी खतरे बढ़ रहे हैं और नई चुनौतियां सामने आ रही हैं जिसमें ‘‘ साइबर अपराध, साइबर आतंकवाद और पर्यावरण एवं जैविक खतरे’’ शामिल हैं।

बिजली कनेक्शन काटने के नाम पर ठगने वाला दबोचा

झारखंड के जामताड़ा में बैठकर लोगों के साथ ठगी करने वाले एक बदमाश को दक्षिणी जिला पुलिस की साइबर थाना पुलिस ने गिरफ्तार किया है। आरोपी संजीव कुमार.

बिजली कनेक्शन काटने के नाम पर ठगने वाला दबोचा

नई दिल्ली, वरिष्ठ संवाददाता। झारखंड के जामताड़ा में बैठकर लोगों के साथ ठगी करने वाले एक बदमाश को दक्षिणी जिला पुलिस की साइबर थाना पुलिस ने गिरफ्तार किया है। आरोपी संजीव कुमार सिंह बिजली का बिल भुगतान न होने के फर्जी संदेश भेजकर पैसों की ठगी की वारदात को अंजाम देता था।

पुलिस उपायुक्त चंदन चौधरी ने बताया कि साकेत इलाके के रहने वाले एक शिकायतकर्ता की शिकायत पर जिले की साइबर थाना पुलिस ने करीब छह लाख की ठगी का मामला दर्ज किया था। पीड़ित ने पुलिस को बताया कि नवंबर माह में उन्हें बिजली का भुगतान न होने के कारण बिजली कनेक्शन काटने का एक संदेश मोबाइल पर मिला। इसके बाद कॉल पर मिले निर्देशों का पालन करते हुए पीड़ित ने अपने मोबाइल फोन में एक रिमोट एक्सेस ऐप डाउनलोड कर लिया। इसका उपयोग करते हुए ठगों ने उनके खाते से छह लाख रुपये उड़ा दिए।

जांच के दौरान पुलिस ने प्राप्तकर्ता खाते की जानकारी निकाली और आरोपियों के मोबाइल नंबरों के बारे में भी पता किया गया। तकनीकी विशेषज्ञों की मदद से पता चला कि पीड़ित को ठगी के लिए निर्देश देने वाली कॉल झारखंड के जामताड़ा से आई थी और पीड़ित के खाते से निकाले गए रुपये अलग-अलग खातों में कई किश्तों में भेजे गए थे। इसके बाद झारखंड के जामताड़ा और धनबाद से ठगी के रुपये कई बार में निकाल लिए गए। इस पर पुलिस की एक टीम तत्काल जामताड़ा पहुंची और वहां से आरोपी संजीव कुमार सिंह को गिरफ्तार कर लिया।

PM Kaushal Vikas Yojana December Update : कौशल विकास योजना में रजिस्ट्रेशन शुरू , ऐसे करें प्रक्रिया

PM Kaushal Vikas Yojana December Update : प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना ( Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana ) राष्ट्रीय कौशल विकास निगम द्वारा कार्यान्वित कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय (एमएसडीई) की प्रमुख योजना है । पीएम कौशल विकास योजना ( PM Kaushal Vikas Yojana ) योजना का पहला संस्करण 2015 में देश में कौशल विकास ( PMKVY ) को प्रोत्साहित करने और बढ़ावा देने के लिए मुफ्त अल्पकालिक कौशल प्रशिक्षण प्रदान करके और कौशल प्रमाणन के लिए युवाओं को मौद्रिक पुरस्कार प्रदान करके इसे प्रोत्साहित करने के लिए शुरू किया गया था।

PM Kaushal Vikas Yojana December Update

PM Kaushal Vikas Yojana DecemberUpdate

Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana DecemberUpdate

प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना ( Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana ) चरण 3.0 देश के सभी राज्यों के 600 जिलों में 15 जनवरी 2021 को शुरू किया गया है। इस पीएम कौशल विकास योजना ( PM Kaushal Vikas Yojana ) का उद्देश्य बड़ी संख्या में भारतीय युवाओं को उद्योग से संबंधित कौशल प्रशिक्षण ( PMKVY ) लेने में सक्षम बनाना है जो उन्हें बेहतर आजीविका हासिल करने में मदद करेगा। पूर्व सीखने के अनुभव या कौशल वाले व्यक्तियों का भी मूल्यांकन और पूर्व शिक्षा की मान्यता (आरपीएल) के तहत प्रमाणित किया जाएगा।

Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana के दो घटक हैं:

राष्ट्रीय कौशल विकास निगम (एनएसडीसी) द्वारा कार्यान्वित किए जाने वाले केंद्रीय घटक के रूप में जाना जाने वाला केंद्र प्रायोजित केंद्रीय रूप से प्रबंधित (सीएससीएम) । केंद्र प्रायोजित राज्य प्रबंधित (सीएसएसएम) जिसे राज्य घटक के रूप में जाना जाता है, जिसे राज्य प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना ( Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana )(एसएसडीएम)/राज्यों/संघ राज्य क्षेत्रों के संबंधित विभागों द्वारा कार्यान्वित किया जाएगा।

PM Kaushal Vikas Yojana को कैसे पंजीकृत करें:

  1. पीएम कौशल विकास योजना ( PM Kaushal Vikas Yojana ) की आधिकारिक वेबसाइट pmkvyofficial.org पर जाएं।
  2. अब “क्विक लिंक्स” और फिर “स्किल इंडिया” लिंक पर क्लिक करें।
  3. फिर “एक उम्मीदवार के रूप में पंजीकरण करें” पर क्लिक करें और उम्मीदवारों के लिए पंजीकरण फॉर्म भरें।
  4. अपना मूल विवरण, स्थान विवरण, प्राथमिकताएं, संबद्ध कार्यक्रम और दिलचस्प फ़ील्ड दर्ज करें।
  5. फिर पंजीकरण प्रक्रिया को पूरा करने के लिए “सबमिट” बटन पर क्लिक करें।

नोट: भविष्य में किसी भी संदर्भ के लिए भरे हुए PMKVY ऑनलाइन आवेदन पत्र का प्रिंटआउट लें।

Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana का तीसरा चरण आज से शुरू

PMKVY 1.0 और पीएम कौशल विकास योजना ( PM Kaushal Vikas Yojana ) 2.0 से प्राप्त अनुभव के आधार पर मंत्रालय ने अपने नए संस्करण में सुधार किया है। इसे कोविड-19 महामारी के कारण निवेश करने के लिए संदर्भ खाते उत्पन्न स्थिति के अनुरूप बनाया गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 जुलाई 2015 को कुशल भारत मिशन का शुभारंभ किया। इस अभियान को प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना ( Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana ) से गति मिली है।

प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना ( Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana ) का उद्देश्य युवाओं को उद्योगों से संबंधित प्रशिक्षण देना है ताकि उन्हें रोजगार दिलाने में मदद की जा सके ! युवाओं को कोई प्रशिक्षण शुल्क नहीं देना पड़ता है, शुल्क का भुगतान सरकार द्वारा ही किया जाता है। इस पीएम कौशल विकास योजना ( PM Kaushal Vikas Yojana ) के तहत अधिकांश कम निवेश करने के लिए संदर्भ खाते पढ़े लिखे या मिडिल स्कूल छोड़ने वालों को कौशल प्रशिक्षण दिया जाता है। कोई भी इच्छुक व्यक्ति pmkvyofficial.org पर जाकर PMKVY के लिए आवेदन कर सकता है।

आप किस तकनीकी क्षेत्र में प्रशिक्षण लेना चाहते हैं

प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना ( Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana ) में आवेदक को फॉर्म भरते समय ही इस विकल्प को चुनना होगा। आप PMKVY में लगभग 40 तकनीकी क्षेत्रों जैसे इलेक्ट्रॉनिक्स, हार्डवेयर, खाद्य प्रसंस्करण, फिटिंग, निर्माण में प्रशिक्षण ले सकते हैं। पीएम कौशल विकास योजना ( PM Kaushal Vikas Yojana ) में अपने पसंदीदा तकनीकी क्षेत्र का चयन करने के बाद, आपको प्रशिक्षण केंद्र का चयन करना होगा।

पीएम कौशल विकास योजना ( PM Kaushal Vikas Yojana ) की खास बात यह है कि आपका प्रशिक्षण पूरा होने के बाद एक प्रमाण पत्र भी दिया जाता है, जो पूरे देश में मान्य होता है। इसके साथ ही सरकार नौकरी दिलाने में भी मदद करती है। PM Skill Development Program कोर्स के लिए रजिस्ट्रेशन 3 महीने, 6 महीने और 1 साल के लिए है । सभी पात्र युवा इस प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना ( Pradhan Mantri Kaushal Vikas Yojana ) का लाभ ले सकतें है !

एथेरियम (ETH) के संस्थापक ने 5 क्रिप्टो उपयोग के मामलों का खुलासा किया जिसके बारे में वह सबसे ज्यादा उत्साहित हैं

इसे ध्यान में रखते हुए, एथेरियम (ETH) के संस्थापक विटालिक ब्यूटिरिन ने 5 दिसंबर को प्रकाशित अपने ब्लॉग पोस्ट में नवोदित प्रौद्योगिकी और क्रिप्टोकरेंसी के लिए पांच महत्वपूर्ण उपयोग के मामलों को साझा किया।

1) मुख्यधारा के पैसे का विकल्प

Buterin के अनुसार, क्रिप्टो उच्च मुद्रास्फीति से प्रभावित देशों में लोगों और संगठनों के लिए अवसर प्रदान करता है:

“अर्जेंटीना और दुनिया भर के कई अन्य देशों में, वैश्विक वित्तीय प्रणालियों के लिंक अधिक सीमित हैं और अत्यधिक मुद्रास्फीति हर दिन एक वास्तविकता है। क्रिप्टोक्यूरेंसी अक्सर जीवन रेखा के रूप में कदम रखती है।

हालाँकि, उनका यह भी मानना ​​​​था कि धनी देशों में क्रिप्टो का महत्वपूर्ण मूल्य है, साथ ही, वे “पारंपरिक बैंकिंग की तुलना में कहीं अधिक सुविधाजनक हैं। यह उन उद्योगों और गतिविधियों के लिए भी मूल्यवान है, जिन पर भुगतान प्रोसेसर द्वारा डिप्लैटफॉर्म किए जाने का जोखिम है।”

2) पहचान, गोपनीयता और ट्विटर विकल्प

इसके अलावा, एथेरियम के संस्थापक ने इस बात पर जोर दिया कि “ब्लॉकचैन पहचान अनुप्रयोगों के लिए मूल्यवान हैं क्योंकि उनकी संस्था-स्वतंत्र प्रकृति और उनके द्वारा प्रदान किए जाने वाले अंतर-लाभ लाभ” जब तक वे “एक कार्बनिक दृष्टिकोण” का उपयोग कर रहे हैं, विशिष्ट कार्यों पर काम करने वाली कई परियोजनाओं के साथ व्यक्तिगत रूप से मूल्यवान और समय के साथ अधिक से अधिक इंटरऑपरेबिलिटी जोड़ना।

यह, उन्होंने जोर देकर कहा, ठीक वैसा ही साइन इन विथ एथेरियम (SIWE) मानक के साथ हुआ, जो “उपयोगकर्ताओं को (पारंपरिक) वेबसाइटों में लॉग इन करने की अनुमति देता है,” जैसे कि Google या फेसबुक के माध्यम से, लेकिन इन सेवाओं को दिए बिना “आपकी निजी जानकारी तक पहुंच” या आपको अपने खाते से बाहर निकालने या लॉक करने की क्षमता।

उन्होंने इस बात पर भी प्रकाश डाला कि “एथेरियम-आधारित ट्विटर विकल्प (जैसे फारकास्टर) पीओएपी का उपयोग कर सकता है [Proof of Attendance Protocols] और एक ‘सत्यापन’ सुविधा बनाने के लिए ऑन-चेन गतिविधि के अन्य प्रमाण, जिसमें पारंपरिक केवाईसी की आवश्यकता नहीं होती है, जिससे एनोन्स को भाग लेने की अनुमति मिलती है।

3) मतदान प्रक्रिया में बेहतर विश्वास

वोटिंग के एक उदाहरण के साथ, Buterin “उन अनुप्रयोगों में भी दृढ़ विश्वास रखता है जो पूरी तरह से ऑन-चेन नहीं हैं, लेकिन अपने ट्रस्ट मॉडल को बेहतर बनाने के लिए ब्लॉकचेन और अन्य प्रणालियों का लाभ उठाते हैं”।

“सेंसरशिप प्रतिरोध, ऑडिटेबिलिटी और गोपनीयता के उच्च आश्वासन की आवश्यकता होती है, और एमएसीआई जैसी प्रणालियाँ इन सभी गारंटियों को प्राप्त करने के लिए प्रभावी रूप से ब्लॉकचेन, ZK-SNARKs और स्केलेबिलिटी और ज़बरदस्ती प्रतिरोध के लिए एक सीमित केंद्रीकृत परत को जोड़ती हैं।”

ब्लॉकचैन पर वोट प्रकाशित करके, “उपयोगकर्ताओं के पास यह सुनिश्चित करने के लिए मतदान प्रणाली से स्वतंत्र तरीका है कि उनका वोट शामिल हो। लेकिन वोटों को एन्क्रिप्ट किया जाता है, गोपनीयता को संरक्षित किया जाता है, और यह सुनिश्चित करने के लिए ZK-SNARK- आधारित समाधान का उपयोग किया जाता है कि अंतिम परिणाम वोटों निवेश करने के लिए संदर्भ खाते की सही गणना है।

एमएसीआई कैसे काम करता है इसका आरेख। स्रोत: विटालिक ब्यूटिरिन

4) डेफी को सरल रखना

विकेन्द्रीकृत वित्त (DeFi) की वर्तमान स्थिति का उल्लेख करते हुए, Buterin ने इसे “एक स्थिर माध्यम में स्थापित करने, सुरक्षा में सुधार करने और विशेष रूप से मूल्यवान कुछ अनुप्रयोगों पर ध्यान केंद्रित करने के शुरुआती चरणों में” होने के रूप में वर्णित किया।

सबसे महत्वपूर्ण DeFi उत्पादों के रूप में, इसके स्थिर स्तंभों के रूप में कार्य करते हुए, Buterin ने विकेन्द्रीकृत स्थिर स्टॉक और प्रमुख स्टॉक इंडेक्स और रियल एस्टेट जैसी अन्य सिंथेटिक संपत्तियों के साथ-साथ पॉलीमार्केट जैसे भविष्यवाणी बाजारों और “अन्य संपत्तियों के बीच कुशलतापूर्वक व्यापार के लिए गोंद परतें” को चुना।

5) विकेंद्रीकृत शासन

विकेन्द्रीकृत स्वायत्त संगठनों (DAO) पर चर्चा करते हुए, Buterin ने उन्हें “एक स्मार्ट अनुबंध के रूप में संदर्भित किया है जो कि कुछ संपत्ति या प्रक्रिया पर स्वामित्व या नियंत्रण की संरचना का प्रतिनिधित्व करने के लिए है।”

उन्होंने आगे विकेंद्रीकृत शासन के मूल्य की व्याख्या की, विशेष रूप से इसकी संरचना और कार्यान्वयन की विभिन्न भूमिकाओं के संदर्भ में:

“विकेंद्रीकृत शासन संरचना अंदर के हमलावरों के खिलाफ सुरक्षा करती है, और एक विकेंद्रीकृत कार्यान्वयन बाहर के शक्तिशाली हमलावरों (‘सेंसरशिप प्रतिरोध’) से बचाता है।”

उसी समय, “विकेंद्रीकृत शासन संरचना (…) विभिन्न पैमानों पर अधिक विविध आवाज़ों से राय शामिल कर सकती है, और विकेंद्रीकृत कार्यान्वयन (…) कभी-कभी पारंपरिक कानूनी-प्रणाली-आधारित दृष्टिकोणों की तुलना में अधिक कुशल और कम लागत वाला हो सकता है।”

अंत में, विकेंद्रीकरण “ऑन-चेन चीजों के लिए ऑफ-चेन सिस्टम की तुलना में अन्य ऑन-चेन चीजों के साथ बातचीत करने के लिए आसान और अधिक सुरक्षित बनाता है, जो अनिवार्य रूप से एक (हमलावर) पुल परत की आवश्यकता होगी।”

यह भी नोट करना महत्वपूर्ण है कि Buterin समान रूप से क्रिप्टो क्षेत्र का समर्थक है क्योंकि वह इसके सबसे मुखर आलोचकों में से एक है, हाल ही में टेरा (LUNA) के प्रोपराइटर Do Kwon का जिक्र करते हुए चेतावनी दी थी कि इसमें अभी भी बुरे अभिनेताओं को आकर्षित करने की क्षमता है।

अस्वीकरण: इस साइट की सामग्री को निवेश सलाह नहीं माना जाना चाहिए। निवेश सट्टा है। निवेश करते समय, आपकी पूंजी जोखिम में होती है।

एथेरियम (ETH) के संस्थापक ने 5 क्रिप्टो उपयोग के मामलों का खुलासा किया है, जिसके बारे में वह सबसे ज्यादा उत्साहित हैं, जो पहले फिनबोल्ड पर दिखाई दिया था।

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